वसई। वसई तालुका की जनता पिछले एक महीने से बिना किसी पूर्व सूचना के बिजली कटौती से त्रस्त है. इस साल गर्मी भी सभी रिकॉर्ड तोड रही है और ऐसे में बिजली विभाग की मनमानी से संपूर्ण तालुका की जनता त्रस्त है. जनता की इस समस्या को लेकर अप्रैल महीने में भाजपा वसई विधानसभा प्रमुख मनोज पाटिल ने शिष्टमंडल के साथ महावितरण अधीक्षक अभियंता वसई से चर्चा की थी तब उन्होंने आश्वासन दिया था की मॉनसून से पहले के मरम्मत का काम 10 दिन के भीतर पूर्ण होने पर समस्या नहीं होगी. लेकिन आज 1 महीने से भी अधिक समय बीत चुका है बावजूद बिजली कटौती की समस्या जैसी की तैसी ही है.
इसलिए इस गंभीर मुद्दे को लेकर भाजपा वसई विरार जिला उपाध्यक्ष मनोज बारोट ने आज महावितरण अधीक्षक अभियंता को लिखित पत्र द्वारा जनता की परेशानी से अवगत कराते हुए महावितरण की कार्य प्रणाली पर सवाल खड़ा करते हुए बताया है की, वसई तालुका का बड़ा हिस्सा शहरीकरण में तब्दील हो चुका है. इसलिए पिछले कई सालों से वसई तालुका की जनता अंडर ग्राउंड बिजली केबल की मांग कर रही है, लेकिन वसई महावितरण विभाग इस काम को नजर अंदाज क्यू कर रहा है? ओवरहेड बिजली के कारण बड़े पैमाने पर बिजली चोरी होती है फिर भी बिजली विभाग क्यू कुंभकरण की नींद से नहीं जाग रहा? ओवरहेड तार के कारण बारिश में हर साल अप्रिय घटनाए घटती है, तो भी इस व्यवस्था में सुधार क्यू नहीं किया जा रहा? क्या वसई तालुका में रहनेवाले आम आदमी की जिंदगी का कोई मोल नहीं है? बिजली विभाग की नजर में वसई तालुका में रहनेवाले नागरिक इंसान नहीं है क्या? हम समझ सकते है, की, बारिश के समय समस्या निर्माण न हो इसलिए मरम्मत करना भी जरूरी है लेकिन उसकी समय मर्यादा होनी चाहिए. इसी प्रकार यह भी सत्य है की, गर्मी के कारण बिजली इस्तेमाल 15 से 20 प्रतिशत ज्यादा होता है. इस हिसाब से बिल बढ़ सकता है. लेकिन हमारे वसई तालुका में उलटा ही कारभार चल रहा है. बिजली विभाग द्वारा हर महीने मीटर रीडिंग के मुताबिक बिल भेजा जाता है. अप्रैल और मई महीने में भारी बिजली कटौती के बावजूद एवरेज बिल के नाम पर बिजली ग्राहकों को दुगना तिगुना बिल भेजकर क्यू लुटा जा रहा है? इसी प्रकार घंटो बिजली कटौती से मासूम बच्चे, बुजुर्ग और अस्पतालों में इलाज के रहे मरीज त्रस्त है. लेकिन अधिकारी मस्त है. महावितरण की लापरवाही और मनमानी जनता को कब तक सहन करना है? इसका जवाब महावितरण विभाग तालुका की जनता को तत्काल दे. अन्यथा जनता की इस समस्या को लेकर भाजपा वसई विरार जिला की ओर से उग्र आंदोलन किया जाएगा और इस आंदोलन के कारण तालुका की कानून व्यवस्था बिगड़ी तो उस के लिए बिजली विभाग संपूर्ण रूप से जिम्मेदार होगा ऐसा इशारा बारोट ने अपने पत्र में किया है.
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