कन्नौजिया श्रीवास समाज साहित्यिक मंच द्वारा होली के रंग कवियों के संग कवि सम्मेलन सम्पन्न


मुंबई। साहित्यिक सामाजिक सांस्कृतिक संस्था कनौजिया श्रीवास समाज साहित्यिक मंच द्वारा रविवार 20 मार्च 2022 को ऑनलाइन राष्ट्रीय स्तर पर कवि सम्मेलन का आयोजन हुआ।होली रंगों का त्योहार,जहां लोग एक-दूजे को रंगों से सराबोर,दोस्त, अजनबी,अमीर,गरीब, नर-नारी,बच्चे बुजुर्ग सभी के सौहार्द्रपूर्ण रंगोत्सव त्योहार उत्साह , मस्ती , प्यार भरे रंगों से सजा हर धर्म, संप्रदाय,जाति के बंधन भाई-चारे का संदेश देता यह भारतीय संस्कृति, परंपरा और सभ्यता के विरासत को समेटे हुए कन्नौजिया श्रीवास समाज साहित्यिक मंच कार्य कर रहा है।इस कार्यक्रम में मुख्य अतिथि ए.के. मेश्राम (अध्यक्ष-- रेलवे भर्ती बोर्ड बिलासपुर) विशिष्ट अतिथि सुश्री ममता मनीष सिन्हा "साहित्य की सखी" के नाम से प्रख्यात (झारखंड) , कार्यक्रम के अध्यक्ष राम रतन श्रीवास "राधे राधे" (कन्नौजिया श्रीवास समाज साहित्यिक मंच छत्तीसगढ़ के सह संस्थापक एवं अध्यक्ष) बिलासपुर छत्तीसगढ़, इस मंच के महासचिव डॉ हितेंद्र कुमार श्रीवास (लबेद सक्ति), कोषाध्यक्ष रविशंकर श्रीवास (मस्तुरी बिलासपुर) , संस्थापक एवं संयोजक इंजीनियर रमाकांत श्रीवास (सलिहाभाठ कोरबा) एवं विभिन्न प्रदेश के प्रबुद्ध साहित्यकारों की उपस्थिति रही।मुख्य अतिथि ने उद्बोधन में कहा कि "साहित्य समाज का दर्पण" होता है।यह हर परिस्थिति में सही मार्गदर्शन प्रसस्त करता है। "सोचता है कौन इस शहर के लिए,सब आए हैं गुजर बसर के लिए" साहित्य की छटा से मंच को गौरवान्वित किया । विशिष्ट अतिथि ने अपने उद्बोधन  में हृदय से बधाई देते हुए कहा कि साहित्यकार अपनी सृजन से सदैव अमर होता है। उन्होंने "थोड़ा सा श्रृंगार लिखा" है की शानदार प्रस्तुति दी।कार्यक्रम का संचालन डॉ हितेंद्र कुमार श्रीवास एवं तुलेश्वर सेन ने संयुक्त रूप से बेहतरीन अंदाज में किया गया । कार्यक्रम के प्रारंभ में मांँ सरस्वती वंदना सुश्री ममता श्रीवास (बनारी /जांजगीर) के सुरम्य स्तुति से हुआ । विभिन्न प्रदेश के प्रबुद्ध साहित्यकारों ने काव्य पाठ कर शमां बांधे रखा जिसमें डॉ. हितेंद्र श्रीवास , रविशंकर श्रीवास , इंजि. श्री रमाकान्त श्रीवास, घनश्याम (गुड्डा) श्रीवास,बसंत कुमार श्रीवास , नोबेल श्रीवास (बिर्रा) ,उमेश श्रीवास (जयरामनगर), विनय शर्मा "दीप" मुंबई (वरिष्ठ साहित्यकार एवं पत्रकार), सूरज श्रीवास "माटी पुत्र" (छत्तीसगढ़ लोक गायक) , सुश्री लक्ष्मी करियारे (छत्तीसगढ़ लोक गायक ) , विनय सिंह क्षत्रिय / पिसौद (चांपा - प्रकाश स्टील प्लांट के उप प्रबंधक), तुलेश्वर सेन (शिक्षक) (नशा मुक्ति अभियान के संयोजक राजनांदगांव (छ०ग०), संतोष कुमार श्रीवास (कोरबा), डाँ. तुलेश्वरी धुरंधर - शिक्षिका (दूरदर्शन एवं आकाशवाणी कलाकार , भारत सरकार द्वारा मार्तंड पुरस्कार से सम्मानित),ऊषा श्रीवास (उपाध्यक्ष), बिसर्जन लाल श्रीवास(कोल फिल्ड सेवा निवृत्त प्रबंधक धनबाद झारखंड , सात विषयों में स्नातकोत्तर उपाधि , राम चरित मानस पर शोध प्रबंध)  राकेश कुमार श्रीवास (बिलासपुर छ०ग०) राम रतन श्रीवास "राधे राधे" , रमाकांत श्रीवास सभी साहित्यकारों ने आभासी पटल पर खूब वाहवाही बटोरी और सभी ने इसकी सराहना करते रहे। कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रहे "राधे राधे" ने होली के इस पर्व को महा उत्सव एवं यादगार पल बताया सभी देशवासियों को सौहार्द्रपूर्ण रंगोत्सव पर शुभकामनाएं प्रेषित किया और कहा ए.के.मेश्राम ( रेलवे भर्ती बोर्ड बिलासपुर के अध्यक्ष) एवं "साहित्य की सखी" के साथ सभी प्रबुद्ध साहित्यकार एवं दर्शक की उपस्थिति से यह मंच गौरवान्वित हुआ सभी का आभार व्यक्त करते हुए धन्यवाद ज्ञापित कर गोष्टी का समापन किया।

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