वविश मनपा के कार्यक्षेत्र में मच्छरों के आतंक ! ठेकेदारों के आगे लाचार है मनपा प्रशासन – मनोज बारोट



वसई। यह सर्वविदित है कि जिस दिन से नरेंद्र मोदीजी ने प्रधानमंत्री पद की शपथ ली है, उसी दिन से स्वच्छता के लिए आह्वान कर रहे है. ताकि नागरिक छोटी मोटी बीमारियों से बचें और तंदुरुस्त रह सकें । इसलिए आरोग्य के लिए हर साल करोड़ों रुपए का बजट बनाया जाता है और स्थानिक प्रशासन को निधि भी मुहैया कराई जाती है । लेकिन दुर्भाग्य से वसई विरार शहर महानगरपालिका प्रधानमंत्री के सपने को चकनाचूर कर तालुका के नागरिकों के आरोग्य से खेलती नजर आ रहा है।
               वविश मनपा क्षेत्र में जगह जगह पर गंदगी के कारण पिछले कुछ दिनों से तालुका में मच्छरों का आतंक बढ़ रहा है. लेकिन आरोग्य विभाग के कुछ भ्रष्ट अधिकारियों को नागरिकों की यह समस्या शायद नजर नहीं आ रही है। इसलिए ठेकेदारों के आगे नतमस्तक आरोग्य विभाग के कुछ भ्रष्ट अधिकारियों को नींद से जगाने और नागरिकों के आरोग्य को ध्यान में रखते हुए भाजपा वसई विरार जिला उपाध्यक्ष मनोज बारोट ने मनपा आयुक्त अनिल कुमार पवार को लिखित पत्र द्वारा अवगत कराते हुए बताया है कि, आरोग्य विभाग के अधिकारियों को शहर के विभिन्न अस्पतालों में शाम के समय भेजा जाए ताकि वो अपनी आंखों से  मच्छरों का आतंक देख सकें।.          
                बतादें कि वसई तालुका का निवासी परिसर हो , अस्पताल हों या सार्वजनिक जगह, हर जगह मच्छरों का आतंक नजर आ रहा है. इसलिए नागरिकों के आरोग्य के लिए क्षेत्र में स्वच्छता पर विशेष ध्यान देने की जरूरत है. क्योंकि तकरीबन 30 लाख की जनसंख्या वाली वसई विरार महानगरपालिका नागरिकों को योग्य स्वास्थ सुविधा देने के लिए सक्षम नहीं है. ऐसी परिस्थिति में आरोग्य विभाग मच्छरों के बढ़ते आतंक को नज़र अंदाज करेगा और इसके कारण यदि तालुका में मलेरिया और डेंग्यू जैसी बीमारी ने महामारी का रूप धारण किया तो क्षेत्र के नागरिकों की अवस्था क्या हो सकती है? इसके बारे में प्रशासन को सोचने की जरूरत है।
             भाजपा नेता बारोट ने आयुक्त से मांग की है कि संबंधित विभाग के अधिकारियों को नागरिकों के आरोग्य को ध्यान में रखते हुए स्वच्छता पर विशेष ध्यान देने के कड़े निर्देश दिए जाएं अन्यथा यह कहना गलत नही होगा कि प्रशासन नागरिकों के आरोग्य के प्रति लापरवाह है और मच्छरों के आतंक के बावजूद प्रशासन ठेकेदारों के आगे लाचार है. क्योंकि मनपा ने आरोग्य विभाग के लिए सन 2022 23 के लिए 230 करोड़ 30 लाख खर्च किया है. इसी प्रकार सन 2023 24 में 366 करोड़ 6 लाख का अनुमानित खर्च का अंदाज बताते हुए  246 करोड़ 84 लाख का सुधारित बजट बनाया है. फिर भी मच्छरों पर नियंत्रण नहीं हो रहा है तो नागरिक यह सोचने पर मजबूर होंगे कि स्वच्छता के नाम पर करोड़ों रूपए भ्रष्टाचार की भेट तो नही चढ़ रहे हैं ?

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